हरदोई भू माफिया महेश बहादुर सिंह के आगे तहसील सदर प्रशासन नतमस्तक!

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हरदोई – योगी सरकार बोल्डोजर भले भूमि माफियाओं पर नकेल कस रहा हो पर यहाँ जनपद हरदोई में भू माफियाओं का बोलबाला है, भाजपा सरकार चाहे लाख वादा कर ले लेकिन हरदोई जनपद में भू माफियाओं का बोलबाला है।इसी क्रम में हरदोई जनपद के सदर तहसील का ताजा मामला सामने आया है। जिस पर खेवट खाता संख्या 284 स्थित ग्राम हरदोई मोहाल खास परगना बंगर तहसील सदर जिला हरदोई का मामला है। आपको बताते चले कि उक्त भूमि हरनाम सिंह पुत्र स्वर्गीय सुंदर सिंह उक्त भूमि के संक्रमणीय भूमि धर हैं जो विरासत प्राप्त हुई है जिसे उक्त भूमि पर पड़ोसी राकेश बहादुर सिंह व महेश बहादुर सिंह पुत्र श्याम बहादुर सिंह विधु उर्फ शेखर प्रताप सिंह पुत्र राकेश बहादुर सिंह चंदा सिंह तारा सिंह सूरज सिंह पुत्र महेश बहादुर सिंह निवासी मोहल्ला सराय थोक पश्चिमी अपनी पुत्रियों एवं अपने बच्चों के साथ उक्त भूमि पर नाजायज कब्जा कर रहे हैं।जोकि उक्त भूमि के मालिक हरनाम सिंह पुत्र सुंदर सिंह कुसमा देवी पत्नी हरिश्चंद्र सिंह मनीष सिंह रजनी सिंह पुत्र हरिश्चंद्र सिंह आदि लोगों के नाम भूमि दर्ज है जिस पर भू माफिया महेश बहादुर सिंह एवं राकेश बहादुर सिंह के द्वारा अवैध कब्जा किया जा रहा है उक्त भूमिका उप जिलाधिकारी सदर के द्वारा 9 फरवरी 2022 को तहसील सदर एवं प्रभारी निरीक्षक कोतवाली शहर को पैमाइश करा कर आख्या उपलब्ध कराने का आदेश जारी किया गया था जिस पर तहसील के नायब तहसीलदार कानूनगो एवं तीन या चार लेखपालों के द्वारा और भारी पुलिस बल के साथ उक्त भूमि की पैमाइश की गई थी और निशानदेही भी की गई थी जो भूमाफिया द्वारा अवैध दीवार बनाई गई थी जिसको भी अधिकारियों ने सीमांकन कर दीवार गिराने के लिए कहा था भाई भू माफियाओं द्वारा स्वयं एवं घर की महिलाओं के साथ गाली गलौज एवं फर्जी मुकदमे में फंसाने की धमकी दे रहे थे लेकिन वही भू माफियाओं का बोलबाला होने के कारण अधिकारी मौके से वापस चले आए फिर क्या दोनों तरफ से प्रार्थना पत्र दिए जा रहे हैं और तहसील प्रशासन द्वारा सिर्फ पुलिस और राजस्व निरीक्षक के लिए लिख दिया जाता है जोक मौके पर कोई भी जाना उचित नहीं समझता है या गोल माल कब तक चलता रहेगा जो कि गजब तो तब हो गया जब भूमाफिया द्वारा तहसील प्रशासन उस पर कार्रवाई करने के बजाए उसकी तहरीर पर जो भूमि धर संक्रमणीय बारिश है उनके खिलाफ ही थाने में मुकदमा पंजीकृत करा दिया गया यह तो वही कहावत सिद्ध हो गए कि उल्टा चोर कोतवाल को डांटे जब दीवार बनाता है तो पुलिस से कहा जाता है पुलिस कहती है कि ऑर्डर तहसील से आ जाए लेकिन यह कब तक होगा या पुलिस प्रशासन और तहसील प्रशासन क्या किसी अनहोनी का इंतजार कर रहा है, क्योंकि अभी तक ऐसे भू माफियाओं के खिलाफ कोई कार्यवाही नहीं की गई जबकि प्रदेश सरकार को सख्त आर्डर है किसी भी सरकारी भूमि या निजी भूमि पर कोई भी भूमाफिया अगर जमा करता है तो उसके खिलाफ एंटी भू माफिया के अंतर्गत मुकदमा पंजीकृत तत्काल जेल भेजा जाए लेकिन हरदोई का तहसील प्रशासन और पुलिस प्रशासन भू माफिया के आगे नतमस्तक होता हुआ नजर आ रहा है,भू माफिया इतना जालसाज है।उसने एक कोर्ट में भी फर्जी मुकदमा डाल रखा है जो अधिकारी जाते हैं।वह कहता है,कि अदालत में मुकदमा विचाराधीन है। लेकिन अदालत में उसने अब तक भी अपना जमीन का बैनामा दाखिल नहीं कर सका क्योंकि उसके नाम कोई भी जमीन दर्ज नहीं है सिर्फ गुमराह करने का काम करता है जबकि वह मुकदमा इस जमीन से कोई लेना देना नहीं है।वह राकेश बहादुर सिंह व महेश बहादुर सिंह का आपसी बंटवारे का मुकदमा था जो सन 2020 में मुकदमा वापस ले लिया गया था

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